केदार धाम में आदि गुरु शंकराचार्य की पुनर्निर्मित समाधि और प्रतिमा का अनावरण करने पहुंचे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी शुक्रवार को न सिर्फ धार्मिक एवं अध्यात्म पुरुष के अवतार में दिखे। वरन मोदी ने उत्तर से दक्षिण तक एक देश को एक सूत्र में पिरोने वाले सनातन धर्म और भारतीय दर्शन का संदेश देने की कोशिश भी की।
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प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शंकराचार्य को शंकर का अवतार बताया और कहा कि शं करोति स: शंकरा:। मोदी का कहा कि इसका तात्पर्य है कि जो कल्याण करे वही शंकर है। मोदी ने देश के तपस्वी संतों का स्मरण किया और कहा कि वे किसी एक का नाम नहीं लेंगे तो यह उनके लिए पाप होगा। उन्होंने नई पीढ़ी को धार्मिक संस्कार देने और धार्मिक व ऐतिहासिक स्थलों की यात्राएं करने की सलाह दी।
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आदि गुरु शंकराचार्य की प्रतिमा का अनावरण करने के बाद पीएम मोदी ने कुछ क्षणों के लिए वहां बैठकर ध्यान लगाया। उन्होंने अपने उद्बोधन में कहा कि उस समय शंकराचार्य की प्रतिमा की आंखों से निकलते तेज प्रकाश पुंज की उन्हें अनुभूति हुई। इसका वह शब्दों में वर्णन नहीं कर सकते।